जम्मू (नेहा) मां वैष्णो देवी ने अपने भक्तों की पुकार सुन ली है। 18 दिन के लंबे इंतजार के बाद माता वैष्णो देवी की यात्रा रविवार, 14 सितंबर से फिर शुरू हो रही है। इससे कटड़ा, भवन और यात्रा मार्ग पर छाया सन्नाटा टूटने के साथ फिर श्रद्धालु जयकारे व भजन-कीर्तन करते नजर आएंगे।यात्रा शुरू होने की सूचना मिलते ही कटड़ा में रुके श्रद्धालु बेहद उत्साहित हैं। यात्रा मार्ग पर काम करने वाले घोड़ा, पिट्ठू वालों से लेकर कटड़ा और जम्मू के व्यापारियों के चेहरे भी खिल उठे हैं। इस बीच, श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड ने यात्रा मार्गों की साफ-सफाई तेज कर दिया है।
बोर्ड ने स्पष्ट किया है कि यात्रा संबंधी जानकारी के लिए श्रद्धालु वेबसाइट www.mavaishnodevi.org का उपयोग कर सकते हैं। यात्रा मार्ग पर 26 अगस्त को आद्कुंवारी क्षेत्र के पास भारी भूस्खलन होने से 34 श्रद्धालुओं की मौत हो गई थी। इसके बाद लगातार वर्षा व यात्रा मार्ग की स्थिति को देखते हुए श्राइन बोर्ड ने यात्रा स्थगित कर दी थी। इसपर देशभर से आए अधिकतर श्रद्धालु लौट गए थे। कई श्रद्धालु अभी भी कटड़ा में यात्रा शुरू होने का इंतजार कर रहे हैं। यह पहली बार है जब भूस्खलन के कारण इतने लंबे समय तक यात्रा स्थगित रही। वर्ष 2005 व 2014 में भूस्खलन से यात्रा चार से पांच दिन बंद रही थी।
हालांकि, कोरोना काल में यात्रा छह माह बंद थी। वहीं, भूस्खलन से प्रभावित हुए अर्धकुंवारी क्षेत्र की मरम्मत कर श्रद्धालुओं के चलने लायक बना दिया गया है। भूस्खलन प्रभावित क्षेत्रों में आपदा प्रबंधन दल व बोर्ड के कर्मियों को तैनात किया गया है। यात्रा शुरू होने की जानकारी मिलते ही कटड़ा में बंद पड़ी दुकानें फिर खुलना शुरू हो गई हैं।
चूंकि कटड़ा का व्यापार यात्रा पर ही निर्भर है, ऐसे में यात्रियों के न आने से कारोबार भी लगातार 18 दिन से बंद पड़ा था। व्यापारियों का दावा है कि इन 18 दिन में कटड़ा में व्यापार, ट्रांसपोर्ट व होटल इंडस्ट्री को 800 से 1000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। वहीं, जम्मू के कारोबार के लिए भी यात्रा विशेष महत्व रखती है। कटड़ा आने वाले श्रद्धालु जम्मू में भी आकर खरीदारी करते हैं।