नई दिल्ली (राघव): दुनिया की नजरें अब अलास्का पर टिकी हैं, जहां अगले शुक्रवार यानी 15 अगस्त 2025 को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन आमने-सामने बैठेंगे। दोनों नेता रूस-यूक्रेन युद्ध को खत्म करने पर बातचीत करेंगे, जिसने पिछले साढ़े तीन वर्षों में लाखों लोगों की जिंदगी उथल-पुथल कर दी है। राष्ट्रपति ट्रंप ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘ट्रुथ सोशल’ पर लिखा, “अमेरिका के राष्ट्रपति के तौर पर मेरी और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की बैठक अगले शुक्रवार को अमेरिका के महान राज्य अलास्का में होगी। आगे की जानकारी जल्द दी जाएगी।”
यह पुतिन की अमेरिका यात्रा का एक दशक बाद पहला मौका होगा। इससे पहले उन्होंने सितंबर 2015 में न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा के दौरान तत्कालीन राष्ट्रपति बराक ओबामा से मुलाकात की थी। ट्रंप ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि वह यूक्रेन में जारी युद्ध पर पुतिन से चर्चा करेंगे और उन्हें उम्मीद है कि यह शांति समझौते का एक मौका है। हालांकि, उन्होंने यह भी माना कि रास्ता आसान नहीं होगा। इससे पहले अमेरिकी दूत स्टीव विटकॉफ ने मॉस्को में पुतिन से मुलाकात कर संभावित त्रिपक्षीय बैठक का प्रस्ताव रखा था, जिसमें यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर ज़ेलेंस्की भी शामिल हों। लेकिन क्रेमलिन ने इस प्रस्ताव पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।
फरवरी 2022 में शुरू हुए रूस-यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने के लिए अब तक तीन दौर की प्रत्यक्ष वार्ताएं हो चुकी हैं, लेकिन किसी में भी ठोस सफलता नहीं मिली। युद्ध में अब तक कई हजार लोग मारे जा चुके हैं और लाखों नागरिकों को अपने घर छोड़ने पड़े हैं। पश्चिमी देशों और यूक्रेन की बार-बार की अपील के बावजूद रूस अब तक युद्धविराम के लिए तैयार नहीं हुआ है।
अगले हफ्ते होने वाली यह बैठक कूटनीतिक दृष्टि से बेहद अहम मानी जा रही है। विश्लेषकों का मानना है कि यह न केवल युद्ध की दिशा बदल सकती है, बल्कि अमेरिका-रूस संबंधों में भी नए मोड़ की शुरुआत कर सकती है।