नई दिल्ली (नेहा): पहाड़ों पर हो रही मूसलधार वर्षा से यमुना खतरे के निशान से ऊपर बहने से घर, बाजार, खेत से लेकर शमशान घाटों में यमुना का पानी भर गया है। यमुना के नजदीकी क्षेत्र व नीचले इलाकों में जन जीवन प्रभावित हो गया है। वहीं, यमुना किनारे बनाए गए वसुदेव घाट पर पानी पहुंचने से इसे बंद कर दिया गया है। यहां होने वाली यमुना आरती को भी फिलहाल बंद करा दिया गया है। यमुना के बढ़ते जलस्तर से दिल्ली के साथ ही गौतमबुद्ध नगर और फरीदाबाद के यमुना से सटे इलाकों में पानी आने से लोगों को घरों से बाहर निकालकर सुरक्षित स्थानों पर भेजा जा रहा है।
पानी यमुना डूब क्षेत्र और नीचले इलाकों में घुसने की वजह से एनसीआर के पांच हजार परिवार प्रभावित हो गए हैं। सरकार की ओर से सड़कों के किनारे व स्कूलों में बनाए गए अस्थायी शिविर प्रभावित लोगों के आशियानें बने हुए हैं। मंगलवार को हुई वर्षा इन लोगों के लिए मुसीबत बनी रही। यमुना किनारे व अस्थायी शिविरों के पास पुलिस व सिविल डिफेंस वालंटियर तैनात कर दिए हैं।
दिल्ली में कश्मीरी गेट के नजदीकी यमुना बाजार के घरों में यमुना का पानी घुस गया। सिंचाई विभाग ने कट्टों में मिट्टी भरकर दीवार बनाई है, ताकि यमुना का पानी रिंग रोड से होते हुए आगे के रिहायशी क्षेत्र में न आ सके। लेकिन पानी अपनी जगह कहीं न कहीं से बना रहा है। निगम बोध घाट का पिछले हिस्से पानी से डूब गया है। इस वजह से पिछले हिस्से में मंगलवार को अंत्येष्टि नहीं हो सकी। घाट के मुख्यद्वार व परिसर में वर्षा का पानी भरा हुआ है। यमुना का जल स्तर बढ़ने से यहां के नाले का पानी यमुना में नहीं जा रहा है। जिस वजह से पानी परिसर व मुख्यद्वार पर भरा हुआ है।
इससे लोगों को काफी परेशानी हुई। मोनेस्ट्री मार्किट में यमुना का पानी घुस गया है। व्यापारियों ने दुकानों को खाली किया। करंट फैलने के खतरे को देखते हुए यहां की लाइट काट दी गई है। प्रशासन ने मार्केट को बंद करवा दिया है। यमुना खादर में मयूर विहार, पुराना लोहापुल, गीता कालोनी में झुग्गियां पानी में डूब गईं। यहां रहने वाले लोग अपने मवेशियों के साथ अस्थायी शिवरों में रह रहे हैं।