नई दिल्ली (नेहा): विदेश मंत्री एस जयशंकर एक हफ्ते की यूरोप यात्रा पर रविवार को रवाना हुए। इस यात्रा के दौरान जयशंकर फ्रांस, यूरोपीय संघ और बेल्जियम के नेताओं से द्विपक्षीय संबंधों के विभिन्न आयामों पर बात करेंगे।
बताया गया है कि इस दौरान वह आतंकवाद के खिलाफ भारत के जीरो-टोलेरेंस अभियान को लेकर सबसे मुखर हो कर बात करेंगे और पहलगाम हमले के बाद आतंकवाद के खिलाफ भारत की कार्रवाई के पीछे की जरूरत के बारे में इन देशों के नेताओं को बताएंगे।
यह यात्रा तब हो रही है कि जब भारत और यूरोपीय संघ के बीच मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) को लेकर बातचीत अंतिम चरण में है। इस साल के अंत तक दोनों के बीच एफटीए होने के पूरे आसार है। जयशंकर के इस दौरे में निश्चित तौर पर यह मुद्दा भी प्रमुखता से उठेगा।यात्रा के पहले चरण में जयशंकर फ्रांस जाएंगे। फ्रांस आज की तारीख में भारत का सबसे विश्वसनीय रणनीतिक साझेदार देश है।
विदेश मंत्रालय के अनुसार जयशंकर पेरिस और मार्शेले जाएंगे। वहां उनकी फ्रांस के विदेश मंत्री जीन नोइल बैरो से मुलाकात होगी। बताया जा रहा है कि दोनों विदेश मंत्रियों की मुलाकात कनाडा में इस महीने के मध्य में होने वाली जी-7 बैठक के दौरान पीएम नरेन्द्र मोदी और फ्रांस के राष्ट्रपति इमानुएल मैक्रो के बीच होने वाली मुलाकात की जमीन तैयार करेगी।
यूरोपीय संघ के उप राष्ट्रपति काजा कलास के साथ जयशंकर की प्रस्तावित रणनीतिक वार्ता को भी काफी अहम माना जा रहा है। फरवरी, 2025 में यूरोपीय संघ के आयुक्तों की पूरी टीम भारत के पहले दौरे पर आई हुई थी। भारत के साथ रणनीतिक संबंधों को ईयू काफी अहमियत दे रहा है। जयशंकर की ईयू के अधिकारियों के साथ होने वाली वार्ता को इस संदर्भ में देखा जा रहा है।