बीजिंग (नेहा): चीन के तियानजिन में आयोजित शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शिखर सम्मेलन में एक अजीबोगरीब घटना देखने को मिली। दरअसल, जब चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग एससीओ के सदस्य देशों, पर्यवेक्षक देशों और डायलॉग पार्टनर देशों के राष्ट्राध्यक्षों का स्वागत कर रहे थे, तभी मलेशियाई प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम पत्नी वान अजीजा वान इस्माइल ने उसने हाथ मिलाने से इनकार कर दिया। उन्होंने जिनपिंग को दोनों हाथ जोड़कर नमस्ते किया और उनकी पत्नी पेंग लियुआन से हाथ मिलाने लगीं। अब इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया में शेयर किया जा रहा है।
सोशल मीडिया पर शेयर किए जा रहे वीडियो में मलेशियाई प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम अपनी पत्नी वान अजीजा वान इस्माइल के साथ शी जिनपिंग से हाथ मिलाने के लिए आगे बढ़ते हैं। जिनपिंग अपनी पत्नी पेंग लियुआन के साथ विदेशी नेताओं का स्वागत कर रहे थे। जिनपिंग ने अनवर इब्राहिम से हाथ मिलाकर उनका स्वागत किया। इसके बाद उन्होंने अनवर इब्राहिम की पत्नी वान अजीजा वान इस्माइल की ओर अपना हाथ बढ़ाया, लेकिन वह नमस्ते की मुद्रा में सिर झुकाकर उनके सामने से आगे निकल गईं। इसके बाद मलेशियाई पीएम की पत्नी ने जिनपिंग की पत्नी से हाथ मिलाया।
माना जा रहा है कि जिनपिंग से हाथ न मिलाने के पीछे अनवर इब्राहिम की पत्नी के धार्मिक कारण थे। इस कारण अनवर इब्राहिम की पत्नी ने जिनपिंग से हाथ नहीं मिलाया और अभिवादन कर आगे बढ़ गईं। अजीजा मलेशिया की एक वरिष्ठ राजनेता हैं। उन्होंने 2018 से 2020 तक मलेशिया की उप-प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया है। ऐसे में माना जा रहा है कि वह धर्म पर आधारित अपने देश की राजनीति के कारण भी ऐसा कदम उठा सकती हैं।
मलेशिया एक इस्लामिक मुल्क है और जिसके एक राज्य में तो शरिया कानून लागू है। खुद मलेशियाई पीएम अनवर इब्राहिम इस्लाम के कट्टर समर्थक माने जाते हैं। उन्होंने कुछ राजनीतिक कारणों से मलेशिया में धर्म को काफी बढ़ावा दिया है। उनके कार्यकाल में कई ऐसे विवादास्पद कानून भी लागू हुए हैं, जिनका आम लोगों ने विरोध किया है। मलेशिया के एक राज्य ने तो जुमे की नमाज न पढ़ने पर जेल का कानून बनाया है।