By using this site, you agree to the Privacy Policy and Terms of Use.
Accept
NrirashtriyaNrirashtriyaNrirashtriya
  • होम
  • टॉप न्यूज़
  • भारत
  • विश्व
  • सम्पादकीय
  • एन आर आई विशेष
  • वीडियो
  • इ पेपर
  • फोटो पेपर
  • अधिक
    • राज्य
Reading: अनवर सादात: एक ऐतिहासिक शांति दूत की त्रासदी
Share
Font ResizerAa
NrirashtriyaNrirashtriya
Font ResizerAa
Search
Follow US
  • Advertise
© 2024 NRIRashtriya. All Rights Reserved.
Nrirashtriya > Blog > national news > अनवर सादात: एक ऐतिहासिक शांति दूत की त्रासदी
national news

अनवर सादात: एक ऐतिहासिक शांति दूत की त्रासदी

Jagjeet
Last updated: March 27, 2024 11:59 am
Jagjeet
Share
4 Min Read
SHARE

19 नवंबर 1977 को इजराइल के डेविड बेंगुरिअन एयरपोर्ट पर एक ऐतिहासिक पल अंकित हुआ जब मिस्र के राष्ट्रपति अनवर सादात शांति के मिशन पर वहां पहुंचे। यह क्षण इतिहास में अभूतपूर्व था, क्योंकि पहली बार कोई अरब नेता इजराइल की धरती पर कदम रख रहा था। सादात का यह कदम इजराइल-मिस्र के बीच आगामी शांति समझौते की नींव रखने जा रहा था, जिसे अमेरिका के मध्यस्थता में 1978 में अंजाम दिया गया। यह समझौता न केवल दो दुश्मन देशों को दोस्ती की ओर ले गया, बल्कि इसने दोनों देशों के नेताओं को नोबेल शांति पुरस्कार से भी नवाजा।
ऐतिहासिक दौरे की महत्वपूर्ण भूमिका
इस दौरे के दौरान, सादात ने इजराइल-मिस्र संबंधों में सुधार की दिशा में पहला कदम उठाया। उनकी यह पहल दोनों देशों के बीच लंबे समय से चली आ रही दुश्मनी को खत्म करने की दिशा में एक उम्मीद की किरण थी। अमेरिका द्वारा कराए गए इस समझौते ने न केवल शांति की एक नई संभावना प्रस्तुत की, बल्कि इसने दुनिया को दिखाया कि दुश्मनी और युद्ध की जगह शांति और समझौते भी संभव हैं।
एक राष्ट्रपति की त्रासदी
6 अक्टूबर 1981 का द दिन मिस्र के इतिहास में एक काला दिवस के रूप में दर्ज हुआ, जब राष्ट्रपति अनवर सादात की परेड देखते समय उनपर हत्या का प्रयास हुआ। मिस्र में विजय दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित इस परेड में सादात पर 34 गोलियां चलाई गईं, जिसके चलते उनकी मौत हो गई। इस हमले के पीछे मिस्र की सेना के लेफ्टिनेंट खालेद इस्लामबोली थे, जिन्होंने इस घातक हमले की अगुवाई की।
इस घटना ने न केवल मिस्र बल्कि पूरी दुनिया को स्तब्ध कर दिया। सादात की मृत्यु ने उनके शांति मिशन और इजराइल-मिस्र समझौते के महत्व को और भी प्रबलित किया। उनकी मृत्यु ने यह दिखाया कि शांति की राह में कितनी बड़ी कुर्बानियां दी जाती हैं और यह भी कि किस प्रकार एक व्यक्ति का दृढ़ संकल्प इतिहास को बदल सकता है।
अनवर सादात की मृत्यु के बाद, उनकी विरासत और उनके द्वारा किए गए शांति प्रयासों को विश्व भर में सराहा गया। उनका निधन शांति और समझौते की ओर उनके अटूट समर्पण का प्रतीक बन गया।
इस घटना ने सिद्ध किया कि शांति की राह में आने वाली चुनौतियाँ कितनी भी विशाल क्यों न हों, अगर इरादे मजबूत हों तो इतिहास रचा जा सकता है। अनवर सादात का जीवन और उनकी मृत्यु दोनों ही विश्व शांति के लिए किए गए उनके अथक प्रयासों की गवाही देते हैं। वर सादात की मृत्यु के बाद, मिस्र और इजराइल के बीच शांति समझौता उनकी सबसे बड़ी विरासत के रूप में रहा। उनके निधन ने दुनिया को एक ऐसे नेता की याद दिलाई, जिसने अपने देश और दुनिया की बेहतरी के लिए अपनी जान की बाजी लगा दी। उनकी मृत्यु ने यह भी दिखाया कि शांति की राह हमेशा खतरों से भरी होती है, लेकिन साथ ही यह भी सिखाया कि इन्हीं खतरों के बीच शांति के असली नायक जन्म लेते हैं।
सादात की दूरदर्शिता और उनके शांति प्रयासों को आज भी विश्व भर में सराहा जाता है। उनकी मृत्यु ने मिस्र और इजराइल के बीच न केवल एक ऐतिहासिक समझौते को जन्म दिया, बल्कि इसने वैश्विक राजनीति में शांति और सह-अस्तित्व की नई संभावनाओं को भी खोला। उनका जीवन और उनकी मृत्यु दोनों ही आने वाली पीढ़ियों के लिए शांति की खोज में साहस और दृढ़ता की मिसाल बन गए हैं।

Related Posts:

  • 9
    अगले हफ्ते होगी नोबेल पुरस्कारों की घोषणा
Tweet
Share
Pin
Share
0 Shares

You Might Also Like

शर्मिष्ठा पनोली के सपोर्ट में उतरे पवन कल्याण

देशभर में बारिश को लेकर IMD ने जारी किया अलर्ट

जम्मू में शिक्षिका ने फांसी लगाकर की आत्महत्या

Maharashtra: मुंबई में समुद्र में गिरने से 20 वर्षीय युवक की मौत

UP: DGP राजीव कृष्ण ने की सीएम योगी से मुलाकात

Sign Up For Daily Newsletter

Be keep up! Get the latest breaking news delivered straight to your inbox.
[mc4wp_form]
By signing up, you agree to our Terms of Use and acknowledge the data practices in our Privacy Policy. You may unsubscribe at any time.
Share This Article
Facebook Twitter Copy Link Print
Share
Previous Article रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले संकीर्ण दायरे में
Next Article यूपी में अपहरणकर्ताओं का अंत
Leave a comment Leave a comment

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Stay Connected

FacebookLike
InstagramFollow
YoutubeSubscribe
- Advertisement -

Latest News

शर्मिष्ठा पनोली के सपोर्ट में उतरे पवन कल्याण
national news Politics June 1, 2025
देशभर में बारिश को लेकर IMD ने जारी किया अलर्ट
national news मौसम विभाग June 1, 2025
जम्मू में शिक्षिका ने फांसी लगाकर की आत्महत्या
national news जम्मू और कश्मीर June 1, 2025
Maharashtra: मुंबई में समुद्र में गिरने से 20 वर्षीय युवक की मौत
national news Sad News महाराष्ट्र June 1, 2025
//

We influence 20 million users and is the number one business and technology news network on the planet

Sign Up for Our Newsletter

Subscribe to our newsletter to get our newest articles instantly!

[mc4wp_form id=”847″]

NrirashtriyaNrirashtriya
Follow US
© 2024 NRIRashtriya. All Rights Reserved.
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?